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गोवा में करोड़ों का खेल घोटाला: कांग्रेस

पणजी | समाचार डेस्क: कांग्रेस ने गोवा में हुए ‘लुसोफोनिया गेम्स’ में घोटाले का आरोप लगाते हुए सीबीआई जांच की मांग की है. गोवा में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कांग्रेस के प्रवक्ता दुर्गादास कामत ने कहा कि गेम्स के पदकों के मूल्य, उद्घाटन और समापन समारोहों, भाड़े पर टैक्सी लेने के साथ ही साथ तीसरे लुसफोनिया गेम्स के लिए आधारभूत संरचना तैयार करने पर बढ़ाचढ़ा कर खर्च किया गया. उन्होंने अनुमान जताया कि यह घोटाला करीब 100 करोड़ रुपये का होगा.

उन्होंने कहा, “दिल्ली, मुंबई और बेंगलुरू की गेम्स मेडल के लिए दिया गया कोटेशन क्रमश: 500, 400 और 600 रुपये था और इसे नामंजूर करते हुए सरकार ने 6,500 प्रति मेडल का भुगतान किया.”

कांग्रेस ने रविवार को आरोप लगाया कि भाजपा शासित गोवा में ‘लुसोफोनिया गेम्स’ नाम से आयोजित पुर्तगाली राष्ट्रमंडल खेलों में भी दिल्ली के राष्ट्रमंडल खेल जैसा घोटाला हुआ है.

जिस फर्म को मेडल आपूर्ति का ठेका पश्चिम बंगाल के अलीपुर स्थित इंडिया गवर्नमेंट मिंट को दिया गया और इस कंपनी का संचालन केंद्र सरकार करती है.

खेल मंत्री रमेश तावादकर ने आरोप को ‘बेबुनियाद’ करार दिया और कहा कि यह उस पार्टी की ओर से लगाया गया है जो विपक्ष में बैठने से हताश है.

उन्होंने कहा, “निविदा की प्रक्रिया के दौरान सभी प्रक्रिया और प्रोटोकॉल का पालन किया गया. कांग्रेस हताश है. वे विपक्ष कहलाने के लायक भी नहीं हैं और निराधार आरोप लगा रहे हैं.”

दुर्भाग्यवश खराब मेडल के कारण गेम्स के दौरान ही विवाद उठ खड़ा हुआ और कई विजेता एथलीटों ने अपना मेडल वापस कर दिया.

12 दिनों तक चले लुसोफोनिया गेम्स में अंगोला, ब्राजील, केप वेराडे, ईस्ट तिमोर, इक्वाटोरियल गुएना, गुएना-बिस्साऊ, गोवा, मकाऊ, मोजांबिक, पुर्तगाल, साओ टोम एंड प्रिंसिप और श्रीलंका ने हिस्सा लिया था.

गोवा एशिया में सबसे पुराने पुर्तगाली उपनिवेशों में से एक रहा जहां 1500 ई. के शुरू में ही पुर्तगाल ने कब्जा कर लिया था.

गोवा में आयोजित लुसोफोनिया गेम्स 2014 पुर्तगाली राष्ट्रमंडल खेलों का तीसरा संस्करण था. इससे पहले के दो आयोजन मकाऊ 2006 और लिस्बन 2009 में आयोजित हो चुके हैं.

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