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शहीद जवानों को श्रद्धांजलि, पार्थिव शरीर भेजा गया गृहग्राम

दंतेवाड़ा|संवाददाताः छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में सोमवार को माओवादियों द्वारा किए गए आईईडी विस्फोट में शहीद हुए आठ पुलिस जवान और एक वाहन चालक को मंगलवार को श्रद्धांजलि दी गई. इस दौरान भारत माता की जय और वंदे मातरम के नारों से पूरा कारली पुलिस लाइन मैदान गूंज उठा. इसके बाद सभी शहीद जवानों के पार्थिव शरीर को उनके गृह ग्राम भेजा गया.

शहीद जवानों में प्रधान आरक्षक बुधराम कोरसा, बस्तर फाईटर्स आरक्षक हरीश कोर्राम, बस्तर फाईटर्स आरक्षक सोमडू वेट्टी, बस्तर फाईटर्स आरक्षक सुदर्शन वेट्टी, बस्तर फाइटर्स आरक्षक सुबरनाथ यादव, आरक्षक डूम्मा मरकाम, आरक्षक पण्डरू राम पोयाय और आरक्षक बामन सोढ़ी शामिल हैं. शहीद जवानों में कुछ कोरसा और सोढ़ी बीजापुर जिले के थे. वहीं कुछ जवान दंतेवाड़ा जिले के थे. गाड़ी चालक तुलेश्वर राणा जगदलपुर का रहने वाला था.

जवानों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा- साय

दंतेवाड़ा के कारली पुलिस लाइन में आयोजित श्रद्धांजलि सभा में शहीद जवानों के परिवार के सदस्यों के साथ पुलिस के आला अधिकारी, स्थानीय जनप्रतिनिधि और बड़ी संख्या में आम लोग मौजूद थे.

शहीद जवानों को श्रद्धांजलि देने के लिए मुख्यमंत्री विष्णु देव साय और गृहमंत्री विजय शर्मा भी पहुंचे थे.

मुख्यमंत्री साय और गृहमंत्री विजय शर्मा ने अंतिम यात्रा से पहले शहीद जवानों के पार्थिव शरीर को कंधा दिया.

शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद मुख्यमंत्री उनके शोक संतप्त परिवार के सदस्यों से भी मिले.

इस दौरान पत्रकारों से चर्चा करते हुए सीएम साय ने कहा कि जवानों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा. जवानों ने छत्तीसगढ़ और देश में शांति स्थापित करने के लिए अपने प्राणों की आहूति दी है. निश्चित रूप से हम शांति स्थापित करने में सफल होंगे.

उन्होंने कहा कि माओवादी बौखलाए हुए हैं और बौखलाहट में उन्होंने यह कायरतापूर्ण हरकत की है. लेकिन माओवादियों के खात्मे के लिए अभियान निरंतर जारी रहेंगे. किसी भी हाल में हिंसा और आतंक को सहन नहीं किया जाएगा. मार्च 2026 तक प्रदेश में नक्सलवाद समाप्त होकर ही रहेगा.

बस्तर में हाई अलर्ट पर जवान

साल 2025 की पहली और बड़ी नक्सली घटना के बाद पूरे संभाग में फोर्स हाई अलर्ट पर है.

पूरे इलाके में सघन सर्चिंग अभियान चलाया जा रहा है.

जिस जगह आईइडी ब्लास्ट हुआ वहां और उसके आसपास बारूंदी सुरंगों की तलाश में फोर्स सर्च ऑपरेशन चला रही है.

घटनास्थल पर आज सुबह से ही भारी संख्या में जवानों को तैनात किया गया है.

तीन साल पहले लगाए थे आईईडी

बताया जा रहा है कि माओवादियों ने घटना स्थल पर लगभग तीन साल पहले ही विस्फोटक प्लांट कर रखा था.

माओवादी मौके की तलाश में थे. सोमवार को जैसे ही मौका मिला माओवादियों ने विस्फोट कर दिया.

कुटरू से बेदरे जाने वाली यह सड़क और पुल लगभग 10 साल पहले बनी थी.

लेकिन तीन साल पहले हुई भारी बारिश से सड़क और पुल दोनों उखड़ गए थे. जिसके बाद सड़क और पुल का मरम्मत कर नया बनाया गया था.

आशंका जताई जा रही है कि मरम्मत के दौरान ही माओवादियों ने यहां आईईडी लगाई होगी.

क्योंकि माओवादियों ने बस्तर में शुरू से सड़क निर्माण का विरोध करते आए हैं और जहां भी सड़क निर्माण होता गया वहां आईईडी लगा देते थे.

घटना स्थल पर तत्काल आईईडी लगाने के कोई सबूत नहीं मिले हैं.

लेकिन यह माना जा रहा है कि आईईडी भले ही 3 साल पहले लगाई गई हो, लेकिन इसे ब्लास्ट करने के लिए वायर रविवार की रात को जोड़ा गया है.

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