छत्तीसगढ़ में खत्म हो जाएगी जनता कांग्रेस?
रायपुर | संवाददाता: अजीत जोगी की जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे में बिखराव शुरु हो गया है. पार्टी के मुखर विधायक धर्मजीत सिंह को संगठन से निकाले जाने के बाद एक अन्य विधायक प्रमोद शर्मा भी संगठन के खिलाफ ताल ठोंक कर खड़े हो गए हैं.
2018 के चुनाव में 5 विधायकों के साथ विधानसभा में बैठने वाली पार्टी के पास अब केवल एक विधायक रेणु जोगी बची हैं. हालांकि बागी विधायक प्रमोद शर्मा को अभी न तो पार्टी से निष्कासित किया गया है और ना ही उन्होंने कोई दूसरी पार्टी का दामन थामा है. इसलिए तकनीकि तौर पर वे अभी संगठन में माने जा सकते हैं.
लेकिन उन्होंने भी साफ कह दिया है कि वे निष्कासित विधायक धर्मजीत सिंह के साथ हैं और पार्टी चाहे तो उन्हें बाहर निकाल सकती है.
इन बयानों के बाद माना जा रहा है कि बड़ी संख्या में जनता कांग्रेस के दूसरे नेता धर्मजीत सिंह और प्रमोद शर्मा के साथ जा सकते हैं.
कभी सरकार बनाने का दावा था
राज्य के पहले मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने 2016 में कांग्रेस पार्टी से अलग हो कर जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे नाम से अपना संगठन बनाया था. संगठन ने दावा किया था कि छत्तीसगढ़ में उनकी सरकार बनेगी.
माना जा रहा था कि राज्य के 90 विधानसभा सीटों में से अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित 29 सीटें और अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित 10 सीटों पर पार्टी बेहतर प्रदर्शन करेगी.
लेकिन ऐसा हो नहीं पाया.
2018 के विधानसभा चुनाव में अजीत जोगी की पार्टी ने बसपा के साथ मिल कर चुनाव लड़ा. इस गठबंधन को राज्य की 90 में से 7 सीटों पर सफलता मिली.
कांग्रेस पार्टी को 68 और भाजपा को 15 सीटे मिली थीं.
जनता कांग्रेस के अजीत जोगी, डॉ रेणु जोगी, धर्मजीत सिंह, प्रमोद शर्मा व देवव्रत सिंह विधानसभा में पहुंचे, वहीं बसपा से केशव चंद्रा और इंदू बंजारे को सफलता मिली.
इस गठबंधन ने कई सीटों पर अच्छा प्रदर्शन किया.
अकलतरा से अजीत जोगी-रेणु जोगी की बहु ऋचा जोगी, चंद्रपुर से गीतांजलि पटेल, बिलाईगढ़ से श्याम कुमार टंडन बसपा की टिकट पर चुनाव मैदान में थे और ये सभी दूसरे नंबर पर रहे.
वहीं जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे के रामपुर से फूल सिंह राठिया व तखतपुर से संतोष कौशिक दूसरे नंबर पर रहे. जनता कांग्रेस और बसपा गठबंधन को लगभग 14 फीसदी वोट मिले थे.
विवाद
अजीत जोगी और देवव्रत सिंह के निधन के बाद पार्टी में तीन विधायक रह गए थे. इनमें से दो विधायक- धर्मजीत सिंह और प्रमोद शर्मा को लेकर पिछले कुछ महीनों से लगातार अटकलें चल रही थीं.
इसी महीने केंद्रीय मंत्री अमित शाह के मोदी @ 20 कार्यक्रम में जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे के विधायक धर्मजीत सिंह और प्रमोद शर्मा शामिल हुए थे. उसके बाद से ही धर्मजीत सिंह के भाजपा प्रवेश की चर्चा थी.
रविवार को पार्टी अध्यक्ष अमित जोगी ने कहा कि धर्मजीत सिंह पर अनुसूचित जाति, जनजाति, गरीब, पिछड़ा वर्ग की उपेक्षा और प्रथम मुख्यमंत्री अजीत जोगी के सिद्धांतों के विरुद्ध कार्य करने के कारण निष्कासन की कार्रवाई की गई है.
विधायक रेणु जोगी और अमित जोगी ने धर्मजीत सिंह के निष्कासन की सूचना विधानसभा अध्यक्ष डा चरणदास महंत को रविवार को दी.
इसके बाद सोमवार को धर्मजीत सिंह ने एक प्रेस कांफ्रेंस किया.
अमित जोगी ने मेरी पत्नी को फ़ोन कर गंदे शब्दों का किया इस्तेमाल
धर्मजीत सिंह ने कहा कि मैंने हमेशा आदिवासियो के हित के लिए हमेशा काम किया है. मुझे निकालने मनगढ़न काम किया है और असली कारण कुछ और ही है.
उन्होंने कहा कि अगस्त में अमित जोगी ने मेरी पत्नी को फ़ोन कर गंदे शब्दों का इस्तेमाल किया.
धर्मजीत सिंह ने कहा कि अमित जोगी की जितनी उम्र है उससे ज़्यादा समय से राजनीति कर रहा हूँ. अमित शाह के कार्यक्रम में गया था इसीलिए मेरे लिए ग़ुस्सा हो कर बदतमीजी किया. इसे मै बर्दाश्त नही कर सकता.
विधायक धर्मजीत सिंह ने कहा कि मै अजित जोगी और रेणु जोगी का बहुत सम्मान करता हूँ. अब मुझ पर क़ातिलाना हमला होगा और हत्या की साज़िश रची जाएगी.