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हॉकी: भारत ने जर्मनी को रोका

रायपुर | समाचार डेस्क: हॉकी वर्ल्ड लीग फाइनल के अपने दूसरे मैच में भारतीय टीम ने शनिवार को मौजूदा ओलम्पिक चैम्पियन जर्मनी को 1-1 से ड्रॉ पर रोक दिया. पूल-बी के अपने दूसरे मैच में भारत की ओर से तीसरे क्वार्टर में मैच के 47वें मिनट में आकाशदीप सिंह ने बराबरी का गोल किया.

जर्मनी ने बेहद आक्रामक शुरुआत की और मैच के छठे मिनट में निक्लास वेलेन ने गोल कर जर्मनी को बढ़त दिला दी.

पहले मैच में अर्जेटीना के हाथों 0-3 से मिली हार के बाद भारत ने दूसरे मैच में संघर्ष का नायाब नजारा पेश किया.

दूसरी ओर जर्मनी ने टूर्नामेंट में लगातार दूसरा मैच ड्रॉ खेला. जर्मनी को शुक्रवार को यूरोपीयन चैम्पियन नीदरलैंड्स के साथ ड्रॉ खेलना पड़ा था.

हालांकि शुक्रवार को मैच से बाहर रहे कप्तान मॉरित्ज फुस्र्ते की वापसी से जर्मन टीम का मनोबल ऊंचा था और उन्होंने तेज शुरुआत भी की.

जर्मन स्ट्राइकर तिमोर उरूज ने रुपिंदर पाल सिंह और बीरेंद्र लाकड़ा को छकाते हुए बाईं ओर से भारतीय डी में प्रवेश किया और उनके सटिक पास को वेलेन ने सीधे गोल का रास्ता दिखा दिया.

जर्मन टीम ने इसके बाद भी आक्रमण जारी रखे और हाउके के पास पर ओरूज के शॉट को भारत के दिग्गज गोलकीपर पी. आर. श्रीजेश एकबार तो रोकने में सफल रहे, लेकिन उनसे छिटककर गेंद फिर से जर्मनी के ओलिवर कॉर्न के पास चली गई.

हालांकि कॉर्न का शॉट गोलपोस्ट के ऊपर से निकल गया.

भारतीय टीम दूसरे क्वार्टर से लय में लौटी. कप्तान सरदार सिंह के बेहतरीन पास पर आकाशदीप का शॉट जर्मनी गोलकीपर आंद्रीयास स्पैक ने रोक लिया.

कुछ ही देर बाद मनप्रीत के पास गोल का शानदार मौका आया, लेकिन उनका बेहद खराब पास आकाशदीप तक नहीं पहुंच सका, जो जर्मन गोलपोस्ट के ठीक सामने बेहद करीब खड़े थे.

0-1 से पीछे चल रही भारतीय टीम मध्यांतर के बाद और मजबूती के साथ उतरी. चिंगलेनसाना सिंह भारत के लिए पहला पेनाल्टी कॉर्नर हासिल करने में सफल रहे. रुपिंदर पाल सिंह का शॉट गोलपोस्ट से टकराकर रमनदीप के पास वापस आ गई, हालांकि वह धैर्य कायम न रख सके और जर्मनी डिफेंडर गेंद क्लीयर करने में सफल रहे.

इस बीच जर्मन टीम के पास अपनी बढ़त को दोगुना करने का भी मौका आया. क्रिस्टोफर रुहर और वेलेन के बेहतरीन तालमेल के बाद लगाए गए शॉट को हालांकि श्रीजेश ने रोक लिया.

रोएलांट ओल्टमैंस की टीम ने आखिरकार अपने घरेलू दर्शकों के सामने 47वें मिनट में पहला गोल हासिल किया. मनप्रीत और आकाशदीप ने बेहतरीन जुगलबंदी दिखाते हुए जर्मनी पर हमला बोला और मनप्रीत के पास पर आकाशदीप ने रिवर्स ड्राइव के जरिए यह गोल दागा.

भारतीय टीम ने इसके बाद आखिरी मिनटों में गोल खाने की अपनी पुरानी समस्या को परे धकेलते हुए मैच के आखिरी मिनटों में बेहतरीन रक्षात्मक खेल खेला और अपने खिलाफ इसके बाद कोई गोल नहीं होने दिया.

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