मकर संक्रांति के बाद बजेंगे बैंडबाजे
रायपुर | एजेंसी: तैयार हो जाइए, बैंडबाजा और बरात के लिए. मकर संक्रांति के बाद यानी जनवरी के दूसरे पखवाड़े से विवाह का मुहूर्त शुरू हो रहे हैं. विवाह मुहूर्त 14 मार्च तक रहेंगे. जनवरी में 18 से 27 तक और फरवरी में 3 से 25 के बीच 10 लग्न हैं जबकि मार्च में सात मुहूर्त हैं. 14 मार्च की रात से खरमास लगते ही बैंडबाजों की धुन थम जाएगी.
पंडित उमेश भाई जानी ने बताया कि 14 जनवरी की शाम 7.09 बजे सूर्यदेव मकर राशि में प्रवेश करेंगे तो देवताओं का दिन और दैत्यों की रात का योग बनेगा. इसी के साथ खरमास समाप्त हो जाएगा. इसके बाद शुरू हो जाएगा सहालग का मौसम और हर तरफ होंगे शादी के जश्न.
सहालग के तहत जनवरी के दूसरे पखवाड़े से विवाह का मुहूर्त शुरू होगा जो 14 मार्च तक रहेगा. इस दौरान 18 से 27 जनवरी तक पांच लग्न हैं. तीन फरवरी से 25 फरवरी तक के बीच 10 शुभ मुहूर्त हैं. मार्च के 14 दिनों में सात दिन शुभ हैं, इनमें चार श्रेष्ठ मुहूर्त हैं. 14 मार्च की रात 1.05 बजे खरमास लग जाएगा और इसी के साथ बैंडबाजों की धुन थम जाएगी.
विवाह की विशेष लग्न : जनवरी में 18, 20,23, 25 व 27. फरवरी में 3, 4, 8, 9,16, 17, 18, 20, 23 और 25 को. मार्च में 2, 3, 7 और 8 को.
वसंत पंचमी अति विशेष लग्न : चार फरवरी को विवाह का अति विशेष मुहूर्त है. ज्योतिषाचार्य शिव मोहन मिश्र शास्त्री बताते हैं कि वसंत पंचमी का मुहूर्त अक्षय तृतीया, देवोत्थानी एकादशी और रामनवमी की तरह, विवाह के लिए विशेष मुहूर्त है. कई संगठन तो इस दिन सामूहिक विवाह भी आयोजित करते हैं.