उत्तराखंड में 6308 की मौत
देहरादून | संवाददाता: उत्तराखंड में हुये जल प्रलय में कम से कम 6308 लोगों की मौत हुई है. राज्य सरकार ने इससे पहले 580 लोगों की मौत की पुष्टि की थी. अब सरकार ने कहा है कि इस जल प्रलय के बाद 5728 लोग भी लापता हैं. ऐसे में महीने भर बाद उन्हें मृत मान कर उनके परिजनों को मुआवजे की रकम सौंपने की प्रक्रिया शुरु की जायेगी.
राज्य के मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा ने कहा कि चूंकि ये 5728 लोग महीने भर से लापता हैं, इसलिये उन्हें हम स्थाई रूप से लापता मानकर उनके परिजनों को मुआवज़ा तो दे देंगे लेकिन राज्य सरकार की तरफ से उनको खोजने का अभियान जारी रखा जाएगा.जो भी हमारे पास फोटो है उसके आधार पर हम अस्पतालों और दूसरी जगहों में उन्हें खोजते रहेंगे ताकि कोई भटक न गया हो.
आंकड़ों के अनुसार इन लापता लोगों में उत्तर प्रदेश के 2098, मध्य प्रदेश के 1035 और उत्तराखण्ड के 924 लोग शामिल हैं. मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा का कहना है कि सरकार ही लोगों को हलफनामा बनाकर देगी और बड़ी सरल प्रक्रिया रखी गई है ताकि लोगों को तत्काल मुआवज़ा मिल जाए.
मुख्यमंत्री ने कहा कि हर मृतक और लापता व्यक्ति के परिजन को प्रधानमंत्री राहत कोष से दो लाख और राष्ट्रीय प्राकृतिक आपदा निधि से डेढ़ लाख रुपये दिए जाने हैं. विजय बहुगुणा ने कहा कि अगर किसी के परिजन लौट आते हैं तो उन्हें यह रकम वापस करनी पड़ेगी.
विजय बहुगुणा ने कहा कि यदि चाहें तो अन्य राज्य सरकारें भी केंद्र से मिलने वाली धनराशि में अपनी तरफ से बढ़ोतरी कर सकती हैं. उन्होंने कहा कि हम यही आग्रह करेंगे कि अन्य प्रदेशों के मृतकों और लापता लोगों की मुआवजा राशि एक मुकम्मल सूची मिलने के बाद संबंधित राज्यों को ट्रांसफर कर दिए जाएं, ताकि प्रक्रिया लंबी न हो. मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी जल्दी ही प्रधानमंत्री से मुलाकात होगी, जिसमें इन मुद्दों पर निर्णय लिया जायेगा.