टैगोर की कविताओं पर 13 फिल्में लोकार्पित
नई दिल्ली: रवींद्रनाथ टैगोर की 150वीं जयंती के स्मारणोत्सेव के अवसर पर केन्द्रीय संस्कृति मंत्री श्रीमती चंद्रेशकुमारी कटोच द्वारा उनकी कविताओं पर आधारित 13 लघु फिल्मों लोकार्पित की गई हैं. प्रसिद्ध निर्देशक श्री बुद्धदेव दासगुप्ता द्वारा निर्देशित इन फिल्मों के निर्माण के लिए संस्कृति मंत्रालय ने वित्तीय सहायता प्रदान की है.
रवींद्रनाथ टैगोर की इन कविताओं के उपर फिल्मों का निर्माण करने और उनके स्मंरणोत्सव से संबंधित प्रस्ताववों की जांच के लिए प्रसिद्ध निर्देशक श्याम बेनेगल की अध्यंक्षता में संचालन समिति का गठन किया गया था. इस श्रृंखला का निर्देशन राष्ट्रीय फिल्म विकास निगम के माध्यम से किया गया है.
ये लघु फिल्में टैगोर की बंसी (बांसुरी), कृष्णककली (श्यायम युवती), मुक्ति (आजादी), फांकी (धोखा), पुकुर धरे (पोखर की ओर से), एक गये (एक गांव), कैमेलिया (कैमेलिया), बंशी वाला (बांसुरी बजाने वाला), शेष चिठ्ठी (अंतिम पत्र), होतत देखा (अनपेक्षित मुलाकात), पत्र लेखा (लिखे जाने वाला पत्र), बाशा बाड़ी (हवेली) और इस्टेतशन (स्टेपशन) नामक कविताओं पर आधारित है.
इनमें से फांकी नामक कविता उस घटना पर आघारित है जब गुरुवर रवीन्द्रनाथ टैगोर छत्तीसगढ़ के बिलासपुर रेल्वे स्टेशन पर रुके थे. वे अपने रिश्तेदार को पेन्ड्रा के क्षयरोग चिकित्सालय ले जा रहे थे. इसमें एक भिखारिन को दिये गये धोखे का उल्लेख किया गया है.