राहुल की रैली से लालू-नीतीश दूर क्यों?
पटना | समाचार डेस्क: राहुल गांधी की रैली से नीतीश कुमार तथा लालू यादव ने किनारा करके कई सवालों को जन्म दे दिया है. क्या वाकई में लालू तथा नीतीश ने राहुल गांधी की बिहार चुनाव के हो रहे पहली रैली से खुद को पृथक किया है या यह चुनावी रणनीति है. इससे पहले ऐसी खबरें आ रही थी कि खुद राहुल गांधी, लालू प्रसाद के साथ किसी रैली में भाग लेना नहीं चाहते है. क्या यह उसी के लिये किये गया है. जाहिर है कि इससे कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी लालू प्रसाद के साथ सार्वजनिक मंच पर भागीदारी की तोहमत से बच जायेंगे.
उल्लेखनीय है कि बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद को चारा घोटाले में सजा हो चुकी है तथा वे जमानत पर हैं. नीतीश कुमार के इस रैली में भाग न लेना भी इसी रणनीति का हिस्सा है जिससे लालू प्रसाद के मुद्दे को हवा न दी जाये.
लालू प्रसाद पूर्व में ही राहुल की रैली में मंच साझा करने में समय के अभाव का कारण बताते हुए इंकार कर दिया था और गुरुवार को जदयू ने भी यह स्पष्ट कर दिया कि राहुल की रैली में मुख्यमंत्री शामिल नहीं होंगे.
जदयू के महासचिव क़े सी़ त्यागी ने कहा कि पार्टी ने उन्हें राहुल की रैली में पार्टी का प्रतिनिधित्व करने की जिम्मेवारी दी है. उन्होंने कहा कि राहुल की पश्चिम चंपारण की रैली में मुख्यमंत्री शामिल नहीं होंगे. हालांकि नीतीश के नहीं शामिल होने का उन्होंने कोई स्पष्ट कारण नहीं बताया.
इधर, सूत्रों का कहना है कि नीतीश कुमार चुनाव के पूर्व राहुल गांधी के साथ मंच साझा करेंगे.
उल्लेखनीय है कि राजद प्रमुख लालू प्रसाद पूर्व में ही कह चुके हैं कि उनके बेटे तेजस्वी यादव राहुल की रैली में उनकी पार्टी का प्रतिनिधित्व करेंगे.
बिहार विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस के प्रचार अभियान की शुरूआत राहुल गांधी पश्चिम चंपारण के रामनगर में 19 सितंबर को आयोजित एक रैली से करेंगे.
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अशोक चौधरी समेत कांग्रेस के कई नेता लालू प्रसाद और नीतीश कुमार को रैली में भाग लेने के लिए आमंत्रण देने के लिए रविवार को दोनों नेताओं से मुलाकात की थी.
गौरतलब है कि जनता दल युनाइटेड, राजद और कांग्रेस मिलकर चुनाव लड़ रहे हैं. राहुल की रैली की सफलता को लेकर कांग्रेस ने पूरी ताकत झोंक दी है.
गौरतलब है कि महागठबंधन की ओर से 30 अगस्त को पटना के गांधी मैदान में आयोजित स्वाभिमान रैली में लालू, नीतीश और कांग्रेस की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंच साझा किया था.