कबीरधामछत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ से नसबंदी के लिये पलायान

रायपुर | समाचार डेस्क: छत्तीसगढ़ की 700 महिलाओं ने पिछले हफ्ते मध्य प्रदेश में जाकर नसबंदी करवाया है. इसे नसबंदी के लिये छत्तीसगढ़ की महिलाओं को पलायान कहा जा सकता है. खबर है कि छत्तीसगढ़ के पंडरिया विकासखंड के वनांचल के पोलमी, कुसियारी, दमगढ़, महिडबरा, तायकेरनी, उपरा, भोभरा, सेंदुरखार, बदना जैसे गांवों की करीब 700 महिलाओं ने मध्य प्रदेश के डिंडौरी जिले में जाकर नसबंदी का ऑपरेशन कराया है.

छत्तीसगढ़ की महिलायें डिंडौरी के समनापुर, गोपालपुरा और झमकी में जाकर नसबंदी करवा रही हैं. इन महिलाओं में गोंड तथा बैगा महिलायें भी शामिल हैं.

ऐसी घटना पहले भी प्रकाश में आ चुकी है. जब मध्य प्रदेश से हितग्राही आकर छत्तीसगढ़ की महिलाओं को नसबंदी करवाने के लिये अपने यहां ले जाते रहे हैं.

मध्य प्रदेश के डिंडौरी जिले के सीएमओ डॉ. संतोष जैन ने मीडिया को बताया कि, “हितग्राही चाहे कहीं के भी हो अगर वो आते हैं तो उनका नसबंदी किया जाता है. छत्तीसगढ़ से पहले भी महिलाएं आती रही है और अब भी आती हैं क्योंकि वहां बेहतर चिकित्सा सुविधा उपलब्ध नहीं है.”

वहीं, छत्तीसगढ़ के कबीर धाम के सीएमओ डॉ. जीके सक्सेना का कहना है, “मध्यप्रदेश से गाड़ियां आती है और वनांचल की महिलाओं को, पुरुषों को लेकर जाती है. वनांचल से डिंडौरी जिला लगा हुआ है, इसलिए भी वहां महिलाएं जाती है.”

वैसे आज के जमाने में विदेशों से मरीज आकर हमारे देश में चिकित्सा तथा सर्जरी करवाते हैं क्योंकि यहां उसका खर्च कम बैठता है. उसे चिकित्सा पर्यटन कहते हैं जिससे देश को विदेशी मुद्रा मिलती है परन्तु मुफ्त में सरकारी खर्च पर नसबंदी करवाने के लिये पड़ोस के मध्य प्रदेश में जाना कई तरह के सवाल खड़े करता है.

इसे नसबंदी के लिये पलायन का नाम जरूर दिया जा सकता है.

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