बस्तर

बस्तर: पत्रकार बाइज्ज़त बरी

रायपुर | समाचार डेस्क: छत्तीसगढ़ के बस्तर में माओवादी कहकर गिरफ्तार किये गये पत्रकार सोमारू नाग को अदालत ने बाइज्ज़त बरी कर दिया है. पिछले साल 16 जुलाई को सोमारू को दरभा से नक्सल गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगा गिरफ्तार किया गया था. इसी के साथ अदालत ने सोमारू के साथ गिरफ्तार दो अन्य ग्रामीणों रामलाल और दसमन को भी बरी कर दिया है.

सोमारू को अदालत द्वारा बरी किये जाने पर उनके वकील अरविंद चौधरी ने बीबीसी को बताया, “पुलिस ने जितने भी झूठे आरोप लगाये थे, उनके पक्ष में कोई भी सबूत अदालत में पेश कर पाने में पुलिस असफल रही.”

पत्रकार सोमारू नाग को अदालत द्वारा बरी किये जाने पर कांग्रेस के छत्तीसगढ़ के प्रवक्ता शैलेष नितिन त्रिवेदी ने बीबीसी से कहा, “ये रिहाई इस बात का जीता-जागता सबूत है कि बस्तर में पत्रकारों को पुलिस और प्रशासन की प्रताड़ना का शिकार होना पड़ रहा है.“

उल्लेखनीय है कि नाग की गिरफ्तारी पर शुरू हुआ विवाद थमा भी नहीं था कि 29 सितंबर को दरभा इलाके से ही पत्रकार संतोष यादव को पुलिस ने माओवादी मुठभेड़ में शामिल होने का आरोप लगा कर गिरफ्तार कर लिया.

इसके बाद अपने खिलाफ़ छपने वाली खबरों से नाराज पुलिस ने पत्रकार दीपक जायसवाल और पत्रकार प्रभात सिंह को भी कुछ पुराने मामलों का हवाला दे कर जेल भेज दिया गया.

पत्रकार दीपक और प्रभात सिंह को पखवाड़े भर पहले अदालत ने जमानत पर रिहा कर दिया, वहीं सोमारू नाग के मामले में अदालत ने पूरी सुनवाई के बाद नाग को बाइज्जत बरी करने का आदेश दे दिया.

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