यूपी भाजपा की बैठक से बड़े नेता रहे दूर
वृंदावन | एजेंसी: भारतीय जनता पार्टी की उप्र कार्य समिति की दो दिवसीय बैठक का रविवार को यहां समापन हो गया. हालांकि पार्टी के बड़े नेता इस बैठक से दूर रहे. दो दिवसीय मंथन के दौरान कार्य समिति ने कृषि और राजनीतिक प्रस्ताव समेत कई प्रस्ताव पास किए. लेकिन बैठक का मुख्य एजेंडा प्रदेश में उपचुनाव ही बना रहा.
मीडिया में दो दिन से यह चर्चा आम रही कि भाजपा ने अपनी कार्य समिति की बैठक में ‘लव जिहाद’ को चर्चा का मुख्य विषय बनाया, लेकिन पार्टी के नेता इसका खंडन करते रहे.
प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मीकांत वाजपेयी ने कहा कि कार्य समिति की बैठक का ‘लव जिहाद’ पर कतई फोकस नहीं था, बल्कि वे प्रदेश की खराब कानून-व्यवस्था पर जरूर चिंतित दिखे. उन्होंने कहा कि बैठक के दौरान कानून-व्यवस्था विशेषकर महिलाओं के उत्पीड़न पर भारी चिंता व्यक्त की गई.
वाजपेयी ने कहा कि महिला किसी धर्म या जाति की हो उसके साथ किसी भी तरह का उत्पीड़न अनुचित है. उन्होंने यह भी कहा कि जिस तरह से महिलाओं के साथ घटनाएं हो रही हैं, उससे लगता है कि इसे योजनाबद्घ तरीके से कराया जा रहा है.
प्रदेश की सपा सरकार पर हमला करते हुए हुए वाजपेयी ने कहा कि इस शासन में अपराधियों को सरकार का समर्थन मिला हुआ है.
समापन सत्र को सम्बोधित करते हुए भाजपा के संगठन महासचिव रामलाल ने भी प्रदेश सरकार को जमकर निशाने पर लिया. उन्होंने कहा कि जिस तरह केंद्र की पूर्व यूपीए सरकार का उल्टा-पुल्टा एलायंस रहा, उसी तरह उप्र में भी सपा सरकार का अपराधियों और गुंडों से समझौता है.
रामलाल ने कार्य समिति के सदस्यों से सवाल किया कि प्रदेश में विकास चाहते हैं अथवा अपराध. उन्होंने कहा कि यदि उप्र को विकास के मार्ग पर ले जाना है तो यहां अगली सरकार भाजपा की होनी चाहिए.
वृंदावन में आयोजित दो दिवसीय बैठक के पहले दिन पार्टी अध्यक्ष अमित शाह के न आने से इसका उद्घाटन फीका रहा. बैठक का उद्घाटन केंद्रीय मंत्री कलराज मिश्र से कराना पड़ा. समापन समारोह का मुख्य अतिथि राजनाथ सिंह को बनाया गया था लेकिन वह भी कार्यक्रम में शरीक नहीं हो सके. ऐसे में रामलाल से समापन का कोरम पूरा कराया गया.
पार्टी का कहना है कि टिकट बंटवारे को लेकर अमित शाह दिल्ली की बैठक में व्यस्त थे, इसलिए वह उद्घाटन करने नहीं पहुंच सके जबकि राजनाथ सिंह के बारे में बताया गया कि वह असम के दौरे पर चले गए हैं.
इसके अलावा पार्टी के कई प्रमुख चेहरों ने भी इस बैठक से अपने को दूर रखा. वरिष्ठ भाजपा नेता व केंद्रीय मंत्री उमा भारती कल उप्र में अपने संसदीय क्षेत्र झांसी में थीं, फिर भी वह बैठक में शरीक नही हुईं. पार्टी के फायर ब्रांड नेता और सुल्तानपुर के सांसद वरुण गांधी भी इससे दूर ही रहे. गोरखपुर के सांसद योगी आदित्यनाथ समेत कई और प्रमुख राजनेता भी बैठक में नहीं दिखे.