छत्तीसगढ़

डॉक्टरों में विवाद, 11 घंटे तक प्रसव पीड़ा से तड़पती रही महिला

गौरेला|संवाददाताः छत्तीसगढ़ के गौरेला-पेंड्रा-मरवाही जिला अस्पताल में दो डॉक्टरों के बीच आपसी विवाद में एक गर्भवती महिला लगभग 11 घंटे तक प्रसव पीड़ा से तड़पती रही. परिजनों ने जब अस्पताल में हंगामा किया तब जाकर अस्पताल प्रबंधन ने इमरजेंसी में बाहर से डॉक्टर बुलाकर ऑपरेशन करवाया. मरीज के परिजनों ने इसकी लिखित शिकायत कलेक्टर से की है.

बताया गया कि गौरेला निवासी एक महिला को प्रसव से लिए जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया था. अस्पताल की स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. अंबरीन सबा ने महिला का स्वास्थ्य परीक्षण करने के बाद परिजनों को बताया कि प्रसव के लिए ऑपरेशन करना पड़ेगा. परिजनों की सहमति के बाद ऑपरेशन की तैयारी शुरू की गई.

परिजनों के अनुसार इस बीच डॉ. सबा और एनेस्थीसिया डॉ. फिरोज के बीच किसी बात को लेकर विवाद हो गया. जिसके चलते निर्धारित समय में एनेस्थीसिया विशेषज्ञ डॉक्टर फिरोज ने तबीयत खराब होने का हवाला देकर एनेस्थीसिया सेवा देने से मना कर दिया.

परिजनों का आरोप है कि परेशान होकर उन्होंने जब डॉक्टर फिरोज को फोन किया तो उन्होंने अस्पताल आने से मना कर दिया और उनके साथ भी अभद्रता पूर्ण व्यवहार किया.

इधर डॉक्टर सबा ने भी डॉक्टर फिरोज के साथ काम करने से मना कर दिया. जिसके चलते समय पर प्रसव नहीं हो पाया.

इसके बाद आनन फानन में बिलासपुर से डॉक्टर बुलाकर मरीज का ऑपरेशन किया गया.

कलेक्टर ने दी डॉक्टरों को चेतावनी

इस संबंध में सीएमएचओ रामेश्वर तिवारी का कहना है कि कई बार चिकित्सकों के बीच कुछ आपसी मतभेद हो जाते हैं. जच्चा-बच्चा को कोई नुकसान नहीं होने दिया गया. हमने समय रहते बिलासपुर से एनेस्थेटिस्ट बुलाकर ऑपरेशन कराया है. बच्चा भी एकदम स्वस्थ है. डॉक्टर फिरोज ने कुछ स्वास्थ्यगत समस्या के कारण अस्पताल आने से मना किया था.

वहीं कलेक्टर लीना कमलेश मंडावी ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए दोनों डॉक्टरों को समझाइश देते हुए दोबारा इस तरह की गलती नहीं करने की चेतावनी दी है.

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