राष्ट्र

सांसदों ने रोजा तुड़वाया, संसद में हंगामा

नई दिल्ली | समाचार डेस्क: शिवसेना सांसदों द्वारा जबरन रोजा तुड़वाने के लेकर बुधवार संसद में हंगामा हुआ. महाराष्ट्र सदन में एक रोजेदार मुस्लिम को कथित रूप से जबरन रोटी खिलाने की घटना पर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी और नजमा हेपतुल्ला ने चुप्पी साध रखी है.

उनसे इस मसले पर बुधवार को जब पूछा गया तो उन्होंने कुछ भी कहने से इंकार किया. केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी से जब इस बारे में सवाल किया गया तो उन्होंने इसे टाल दिया.

वहीं, अल्पसंख्यक मामलों की मंत्री नजमा हेपतुल्ला ने भी प्रकरण पर टिप्पणी करने से इंकार किया.

एक वीडियो में शिव सेना सांसदों को महाराष्ट्र सदन में एक रोजेदार कर्मचारी को जबरन रोटी खिलाते दिखाया गया है, जबकि वह इसका विरोध जताते हुए कह रहा था कि उसका रोजा है.

शिवसेना के सांसदों द्वारा महाराष्ट्र सदन के कैटरिंग में काम करने वाले आईआरसीटीसी के रेजिडेंट मैनेजर अरशद को गुस्से के मारे जबरन रोटी खिलवाने के आरोप में लोकसभा तथा राज्य सभा में विरोधी सांसदों ने इतना हंगामा किया कि राज्य सभा की कार्यवाही को 10 मिनट के लिये तथा लोकसभा की कार्यवाही को 12.30 बजे तक के लिये स्थगित करना पड़ा.

गौरतलब है कि शिवसेना के 11 सांसदों पर आरोप है कि उन्होंने रमजान के दौरान महाराष्ट्र सदन के कैटरिंग में कार्य करने वाले अशरद को महाराष्ट्रियन खाना न मिलने के कारण रोटी खिलाकर उसका रोजा तुड़वा दिया गया था. शिवसेना के जिन सांदों पर आरोप लगाया गया है उनमें संजय राउत, आनंदराव अडसुल, रंजन विचारे, अरविंद सावंत, हेमंत गोडसे , कृपाल तुमाने, रविन्द्र गायकवाड़, विनायक राउत, शिवाजी पाटिल, राहुल शेवाले और श्रीकांत शिंदे के नाम शामिल हैं.

ज्ञात्वय रहे कि 17 जुलाई को आईआरसीटीसी के डेप्युटी जनरल मैनेजर शंकर मल्होत्रा ने रेजिडेंट कमिश्नर बिपिन मलिक को ई-मेल के माध्यम से शिकायत की थी कि “‘आज महाराष्ट्र सदन के प्रेस कॉन्फ्रेंस हाल में शिवसेना के 12-15 सांसदों की मीटिंग थी. इस मीटिंग में वे इलेक्ट्रिकल, सिविल, हाउसकीपिंग, कैटरिंग आदि से जुड़ीं समस्याएं उठा रहे थे. इसके बाद सभी सांसद इलेक्ट्रॉनिक मीडिया और मैनेजर के साथ पब्लिक डाइनिंग हॉल में पहुंच गए. वे आपत्तिजनक भाषा में किचन और सर्विस स्टाफ को धमकाने लगे.”

अरशद की शिकायत है कि “सारे गेस्ट मीडिया के लोग और महाराष्ट्र सदन के कर्मचारियों के साथ किचन में घुस गए. उस समय मैं ऑर्डर तैयार करवा रहा था. उन्होंने मुझे पकड़ लिया और एक रोटी में मेरे मुंह में ठूंस दी. मैंने उस समय आईआरसीटीसी की वर्दी पहन रखी थी और नेम प्लेट भी लगा रखी थी. पैनल में मौजूद सारे लोग जानते थे कि मेरा नाम अरशद है. इन लोगों के मुंह में रोटी ठूंसने की वजह से मेरा रोजा टूट गया. उनकी हरकतों से मेरी धार्मिक भावना को गहरा आघात लगा है.”

शिवसेना ने इन आरोपों से इंकार किया है तथा महाराष्ट्र सदन के व्यवस्था पर प्रश्न उठाया है वहीं कांग्रेस के सदस्य इन सांसदों की सदस्यता रद्द् किये जाने की मांग कर रहें हैं.

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