राष्ट्र

रणबीर फर्जी एनकाउंटर: 17 पुलिसकर्मी दोषी

नई दिल्ली | समाचार डेस्क: देहरादून में रणबीर सिंह फर्जी एनकाउंटर केस के दोषी 17 पुलिस कर्मियों को आजीवन कारावास. सोमवार को दिल्ली की एक अदालत ने 3 जुलाई 2009 में 22 वर्षीय छात्र रणबीर सिंह को फर्जी एनकाउंटर में मारने वाले 18 में से 17 को दोषी करार देते हुए यह सजा सुनाई है.

सीबीआई के विशेष न्यायाधीश जीपीएस मलिक ने फर्जी मुठभेड़ कांड के 17 दोषी पुलिसकर्मियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई.

अदालत ने शुक्रवार को युवक की हत्या के लिए 18 पुलिसकर्मियों को दोषी पाया था, लेकिन इनमें से एक को हत्या के आरोप से बरी करते हुए रिकार्ड में हेरफेर करने का दोषी ठहराया.

जसपाल सिंह गोसाईं को भारतीय दंड संहिता की धारा 218 के तहत दोषी पाया गया है.

इससे पहले दोषी पाए गए पुलिसकर्मियों में गोसांई के अतिरिक्त पुलिस निरीक्षक संतोष जयसवाल, उप-निरीक्षक गोपाल दत्त भट्ट, राजेश बिष्ट, नीरज कुमार, नितिन चौहान और चंद्र मोहन, कांस्टेबल अजीत सिंह, सतबीर सिंह, सुनील सैनी, चंद्र पाल, सौरभ नौटियाल, नागेंद्र नाथ, विकास चंद्र बलुनी, संजय रावत, मोहन सिंह राणा, इंदर भान सिंह और मनोज कुमार शामिल हैं.

इन लोगों की गिरफ्तारी गाजियाबाद निवासी रणबीर सिंह की मोहिनी रोड पर उसके साथियों के साथ पकड़े जाने और फिर उत्तराखंड पुलिस द्वारा उसकी हत्या किए जाने के सबूत पाए जाने के बाद हुई है. ऐसा कहा जा रहा था कि रणबीर तीन जुलाई, 2009 को घटना के वक्त अपने साथियों के साथ कोई अपराध करने की फिराक में था.

error: Content is protected !!