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बंगाल में साफ हो जाएगी भाजपा: ममता

कोलकाता | एजेंसी: ममता बनर्जी ने ईंधन कीमतों एवं रेल किराए में वृद्धि के लिए भाजपा की सोमवार को आलोचना की और कहा कि अगले आम चुनाव में भाजपा राज्य में साफ हो जाएगी.

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता ने शहीद दिवस पर यहां आयोजित एक रैली में कहा, “राज्य से भाजपा के पास एक संसदीय सीट थी. इस चुनाव में उनकी एक सीट बढ़ गई. लेकिन उनके रवैए से लगता है कि उन्होंने बहुत कुछ हासिल कर लिया है. उनके पास इस वक्त दो सीटें हैं. लेकिन सीटों की यह संख्या कभी तीन नहीं होगी और अगले आम चुनाव में यह घटकर शून्य हो जाएगी.”

शहीद दिवस का आयोजन 21 जुलाई, 1993 को पुलिस की गोलीबारी में मरने वाले 13 युवकों की याद में किया जाता रहा है. लेकिन तृणमूल ने इसका नाम बदलकर अब मा माटी मानुष दिवस कर दिया है.

रैली में लाखों समर्थकों को संबोधित करते हुए तृणमूल कांग्रेस की अध्यक्ष ममता ने भाजपा पर चुनाव के दौरान लोगों को गुमराह करने का आरोप लगाया.

ममता ने रैली में कहा, “चुनाव से पहले उन्होंने कुछ और कहा था, जबकि चुनाव के बाद उन्होंने बिल्कुल विपरीत काम करना शुरू कर दिया. सत्ता में आने के एक माह के भीतर उन्होंने ईंधन की कीमत और रेल किराए में वृद्धि कर दी. हम इसके खिलाफ लोकतांत्रिक तरीके से अपना विरोध प्रदर्शन जारी रखेंगे.”

उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि भाजपा पश्चिम बंगाल में दंगों को बढ़ावा देना चाहती है. लेकिन उन्होंने चेताया कि उनके राज्य में विभाजनकारी नीतियों के लिए कोई स्थान नहीं है.

ममता ने कहा, “वे राज्य में साम्प्रदायिक राजनीति को बढ़ावा देना चाहते हैं. लेकिन हम ऐसा नहीं होने देंगे. बंगाल की धरती पर साम्प्रदायिकता के लिए कोई स्थान नहीं है.”

उधर, पश्चिम बंगाल में विपक्षी दलों को सोमवार को उस समय झटका लगा, जब उनके चार विधायक मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की उपस्थिति में सत्ताधारी तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो गए. इनमें से तीन कांग्रेस के और एक माकपा विधायक हैं.

कांग्रेस विधायकों में असित कुमार मल-बीरभूम जिले की हासन सीट, मोहम्मद गुलाम रब्बानी-उत्तर दीनाजपुर जिले की गोलपोखोर सीट और उमापद बौरी-पुरुलिया जिले की पारा सीट शामिल हैं.

मार्क्‍सवादी कम्युनिस्ट पार्टी की छाया दूई तीन साल पहले पश्चिम मिदनापुर जिले की चंद्रकोना सीट से निर्वाचित हुई थीं. उन्होंने भी तृणमूल की सदस्यता ग्रहण कर ली.

ममता के मुख्यमंत्री बनने के बाद यह पहला मौका है जब माकपा के किसी विधायक ने तृणमूल की सदस्यता ग्रहण की है. ममता 2011 में मुख्यमंत्री बनी थीं.

बनर्जी ने विधायकों का स्वागत करते हुए कहा, “हम कंधे से कंधा मिलाकर बंगाल के विकास के लिए काम करेंगे.”

बनर्जी ने कहा, “जिनके पास कुछ आदर्श है, मूल्य आधारित राजनीति में विश्वास रखते हैं, और काम करना चाहते हैं, उनके लिए तृणमूल कांग्रेस सही जगह है. क्योंकि यह जनता की पार्टी है.”

ममता ने इसके पहले अपने संबोधन में वाम मोर्चे के सदस्यों को अपनी पार्टी में शामिल होने के लिए झकझोरा.

बनर्जी ने कहा, “पूरे आदर के साथ मैं कहती हूं कि जो वामपंथी सिद्धांतों, मूल्यों में विश्वास करते हैं, वे तृणमूल में शामिल हो जाएं और जनता के लिए काम करें. पैसे की लालच में खुद को न बेचें.”

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