छत्तीसगढ़बिलासपुर

छत्तीसगढ़: नोटबंद, सब्जी-फल मंद

बिलासपुर | संवाददाता: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में नोटबंदी से सब्जी तथा फल बाजार में मंदी छा गई है. फल तथा सब्जी बेचने वालों का कहना है कि उनकी बिक्री इतनी घट गई है कि घर चलाना मुश्किल होता जा रहा है. इतना ही नहीं सब्जी का उत्पादन करने वाले छोटे-छोटे किसानों को तो अपनी लागत तथा मेहनत का मोल तक नहीं मिल पा रहा है. जाहिर है कि घाटा उन्हें फांका करने को मजबूर कर रहा है.

बिलासपुर से लगे मंगला गांव के किसान सब्जी की पैदावर करके उन्हें स्थानीय शनिचरी बाजार तथा बृहस्पति बाजार में बेचते हैं. अब हालत यह हो गई है कि जिस सब्जी को 20-25 रुपये किलो की दर से बेचा जाता था वो अब महज 5-7 रुपये किलो की दर पर जा रहा है.

* मंगला के रामसागर पटेल का कहना है कि गोभी 8-10 रुपये किलो की दर से बेचना पड़ रहा है. इतनी बुरी स्थिति का सामना कभी नहीं करना पड़ा है.

* बिलासपुर के बृहस्पति बाजार के बुजुर्ग सब्जी विक्रेता अनंदराम ने इस बार मूली तथा पालक की खेती की है. उनका कहना है कि नोटबंदी के कारण लागत तक वसूल नहीं हो पा रही है.

* बृहस्पति बाजार सब्जी विक्रेता संघ के अध्यक्ष श्यामू साहू का कहना है कि चिल्हर की कमी के कारण ग्राहकों से रोज वाद-विवाद की स्थिति बन जा रही है. सब्जी की स्थानीय आवक में भी गिरावट आई है.

* कमल देवांगन का कहना है कि नोटबंदी के कारण ट्रांसपोर्टिंग ठप्प सा पड़ गया है. इसलिये सब्जियां बाहर नहीं जा पा रही हैं. टमाटर 3-4 रुपये किलो का हो गया है.

* बिलासपुर में ठेले में केला बेचने वाले महेश जायसवाल का कहना है कि उनकी बिक्री आधी हो गई है. भला ऐसी स्थिति में कमाई कैसे हो सकती है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!