छत्तीसगढ़

संघ में जा सकेंगे सरकारी कर्मचारी

बीबीसी रायपुर | आलोक प्रकाश पुतुल: छत्तीसगढ़ में सरकारी कर्मचारी और अधिकारी अब राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सदस्य बन सकते हैं. इसके अलावा सरकारी कर्मचारी संघ को कार्यक्रमों में भी भाग ले सकते हैं.

सरकारी कर्मचारियों और अधिकारियों के किसी राजनीतिक संगठन के सदस्य बनने या उसके आयोजनों में भाग लेने पर अब तक पाबंदी थी.

यहां तक कि सेवा शर्तों में राजनीतिक मामलों में सार्वजनिक रूप से मत व्यक्त करने पर भी रोक है.

मई 2000 में सरकार ने एक अधिसूचना जारी करके कहा था कि राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ और दूसरी ऐसी संस्थाओं की गतिविधियों में भाग लेना या उसे किसी रूप में सहयोग देना छत्तीसगढ़ सिविल सेवा आचरण नियम का उल्लंघन माना जाएगा.

15 साल बाद अब छत्तीसगढ़ सरकार ने यह प्रतिबंध हटा लिया है.

राज्य के सामान्य प्रशासन विभाग के अपर सचिव केआर मिश्रा ने इससे जुड़ी अधिसूचना जारी की है.

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ब्रजेंद्र शुक्ला कहते हैं, “संघ मूल रूप से सामाजिक और सांस्कृतिक संस्था है और सरकारी कर्मचारियों और अधिकारियों के व्यक्तित्व निर्माण के लिए इसकी गतिविधियों में शामिल होने की अनुमति एक बेहतर निर्णय है.”

हालांकि भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी की केंद्रीय कार्यकारिणी के सदस्य सीआर बख्शी इसे सांप्रदायिकता से जोड़ते हैं. बख्शी के मुताबिक़, “नरेंद्र मोदी की सरकार मूल रुप से राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की सरकार है और उसी एजेंडे के तहत पूरे देश में ऐसे निर्णय लिए जा रहे हैं. सांप्रदायिकता को बढ़ावा देने के इस तरह के निर्णय दुखद हैं.”

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!